
“अद्भुत परवरिश का फल ठीक उस बरगद के पेड़ जैसा होता है, जिसकी छाया भले ही देर से मिले, मगर एक बार मिल जाए तो जीवन भर साथ निभाती है।”
“अद्भुत परवरिश का फल ठीक उस बरगद के पेड़ जैसा होता है, जिसकी छाया भले ही देर से मिले, मगर एक बार मिल जाए तो जीवन भर साथ निभाती है।”

“अद्भुत परवरिश का फल ठीक उस बरगद के पेड़ जैसा होता है, जिसकी छाया भले ही देर से मिले, मगर एक बार मिल जाए तो जीवन भर साथ निभाती है।”
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